स्वास्थ्य मंत्री जी यह कैसी स्वास्थ सेवा सरदारपुर तहसील के अंतिम छोर पर बसा राजोद प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र
सुविधाओं के अभाव में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर मरीजों को करना पड़ रहा परेशानीयों का सामना,
स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों की लापरवाही के चलते नहीं हो पा रही ओटी, पांच लाख की मशीन खा रहीं धुल पिछले साल सितंबर में आई थी मशीन अभी नहीं हुई चालू
आपरेशन रुम भी पुरी तरह तैयार
एक कर्मचारी कर रहा दो कार्य महिला प्रसाधन के बाहर बरामदे में कर रहे ड्रेसिंग
सरदारपुर से राहुल राठोड़
सरदारपुर – राजोद में प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर सुविधाओं के अभाव में मरीजों को परेशानीयो का सामना करना पड़ रहा है। राजोद सरदारपुर तहसील का एक बड़ा गांव है लगभग 11 ग्राम पंचायतो के ग्रामीणो का आना जाना होता है।जहां पर प्रतिदिन सैकड़ों मरीजों का आना जाना लगा रहता है। स्वास्थ केंद्र पर दो मेडिकल आफिसर पदस्थ हैं। लेकिन स्टाफ की कमी एवं भवन में कक्षों की कमी के चलते परेशानीयो का सामना करना पड़ रहा है। भवन के अभाव महिला प्रसाधन के बाहर बरामदे में मरीजों की ड्रेसिंग करना पड़ रही है।तो फार्मासिस्ट नहीं होने से पर्ची बनाने वाले कर्मचारियों को ही फार्मासिस्ट एवं पर्ची बनाने के दोनों कार्य करना पड़ रहें हैं। बुधवार को श्रेत्रीय विधायक प्रताप ग्रेवाल भी अस्पताल पहुंचे यहां पर उन्होंने डाक्टरों से चर्चा कर मरीजों से उनके स्वास्थ के बारे में जानकारी ली स्टॉप की कमी को लेकर विधायक ग्रेवाल ने तत्काल स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी से फोन पर चर्चा कर समस्या के समाधान के लिए कहा प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर पदस्थ डा. अनिल भाभर वैसे तो हर संभव प्रयास कर प्राथमिक स्वास्थ केंद्र की व्यवस्थाओं को बेहतर बनाने में जुटे हुए हैं लेकिन सुविधाओं का अभाव होने से वै चाह कर भी कुछ नहीं कर पाते हैं। इतना बड़ा श्रेत्र है जहां पर दो से अधिक स्टाफ नर्स होना चाहिए लेकिन केवल एक ही स्टाफ नर्स राजोद प्राथमिक स्वास्थ केंद्र पर पदस्थ हैं। प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र राजोद पर एक समय था जब एक दिन में 10-20 OPD होती थी आज है कि दोनों मेडिकल आफिसरों की मेहनत और लगन अपने कृतव्य के प्रति लगन से आज हास्पिटल में 100-120 OPD होने लगी और आम जनता को सरकारी हास्पिटल की सुविधाओं से खुशी होने लगी और आस पास के श्रेत्रो से सैकड़ों की संख्या में प्रति दिन मरीज़ हास्पिटल पहुंचते हैं। जब महिला की डिलेवरी को लेकर 40 किलोमीटर दूर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र सरदारपुर जाना होता था। और महिने में हास्पिटल में 10 डिलीवरी भी नहीं हो पाती थी।जो आज़ महिने में 40-50 से भी अधिक डिलीवरी राजोद प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र राजोद पर हो जाती है।
जब बंद पड़ी मशीन को लेकर सीएमओ डॉ शीला मुजाल्दे से सम्पर्क करना चाहा तो उन्होंने फोन नहीं उठाया
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